Ranchi : सांसद निशिकांत दुबे की पत्नी अनामिका गौतम की धन्यभूति इंटरप्राइजेज के नाम पर देवघर में खरीदी गयी जमीन के मामले की सुनवाई मंगलवार को हाइकोर्ट में हुई। झारखंड हाइकोर्ट ने मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत ने 29 नवंबर को अगली सुनवाई की तारीख निर्धारित की।
मंगलवार को झारखंड हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत में हुई सुनवाई के दौरान प्रार्थी की ओर से झारखंड हाईकोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता आर एस मजूमदार और अधिवक्ता प्रशांत पल्लव ने पक्ष रखा। जबकि राज्य सरकार की ओर से अधिवक्ता कौशिक सरखिल ने पक्ष रखते हुए एफिडेविट दायर करने के लिए अंतिम मौका मांगा। जिसपर प्रार्थी के अधिवक्ताओं ने पुरजोर विरोध किया। लेकिन अदालत ने सरकार के आग्रह को स्वीकार करते हुए 29 नवम्बर तक एफिडेविट दायर करने का निर्देश दिया है।
सुनवाई के दौरान प्रार्थी अनामिका गौतम की ओर से वरीय अधिवक्ता आर एस मजूमदार ने अदालत में कहा कि इसी तरह से जुड़े हुए अन्य मामलों में झारखंड हाई कोर्ट ने उन्हें राहत दी है और हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट ने भी सही ठहराया है। वहीं उन्होंने इस पूरे मामले को राजनीति से प्रेरित बताते हुए कहा कि जानबूझकर अनामिका गौतम को परेशान किया जा रहा है।
जानकारी हो कि पिछली सुनवाई के दौरान हाइकोर्ट ने अनामिका गौतम की देवघर में धन्यभूति इंटरप्राइजेज के नाम पर खरीदी गयी जमीन की जमाबंदी रद्द करने के उपायुक्त के आदेश पर रोक लगा दी थी। अदालत ने सरकार को जल्द से जल्द जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया था।
बता दें कि सांसद निशिकांत दुबे की पत्नी अनामिका गौतम ने अपने अधिवक्ता के माध्यम से झारखंड हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर देवघर डीसी के आदेश को रद्द करने की मांग की है। अपनी याचिका में उन्होंने कहा है कि देवघर डीसी द्वारा उनकी भूमि के संबंध में लिया गया निर्णय गलत है। इसलिए इस आदेश को रद्द किया जाना चाहिए।