पाकुड़/हिरणपुरः
मनरेगा के तहत सड़क निर्माण में घोटाला सामने आया है. आरोप है कि फर्जी विपत्र तैयार कर लाखों राशि की निकासी कर ली गई है. पाकुड़ डीसी दिलीप कुमार झा के निर्देश पर हिरणपुर बीडीओ गिरिजा शंकर महतो ने थाने में आवेदन देकर मामला दर्ज कराया है. तत्कालीन हिरणपुर बीडीओ जफर हसनात सहित 10 के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज की गयी है.
क्या है आरोपः
योजना का काम बगैर किये ही चार लाख 87 हजार 48 रूपये अधिक भुगतान कर दिया गया है. आरोप है कि योजना में फर्जी विपत्र तैयार कर राशि की निकासी कर ली गई, जिसमें तत्कालिन बीडीओ सहित संबंधित लोगों की संलिप्तता जांच के दौरान सामने आई है. जाॅच टीम ने सड़क की जांच में पाया कि खुदाई करने पर मोरम की मोटाई 26 इंच पाई गई, ग्रेड वन की मोटाई सिंर्फ 3 से 5 इंच पाया गया. जिसमें न गे्रडेड पत्थर का उपयोग किया गया और न ही पैकिंग की गई है. ग्रेड वन की पत्थर की गुणवत्ता भी न्यूनतम थी और सड़क का लेंथ भी कम पाया गया है.
कौन-कौन हैं आरोपीः
तत्कालीन हिरणपुर बीडीओ जफर हसनात, तत्कालीन बीपीआरओ सुरेन्द्र प्रसाद साहा,तत्कालीन नाजीर जर्नादन राय,कनीय अभियंता रवि कुमार, तत्कालिन सहायक अभियंता साइमन हेम्ब्रम, तत्कालीन पंचायत सचिव किशोर यादव, तत्कालीन रोजगार सेवक कोर्नेलियुस सोरेन, मेट लखन सोरेन, तत्कालीन उपडाकापाल साइमन हांसदा व मेटेरियल आपूर्तिकत्र्ता हीरालाल मंडल को नामजद अभियुक्त बनाया गया है.