रांची: अपर मुख्य सचिव ने आदेश निकाला है कि संक्रमित मरीजों का उपचार करने वाले निजी अस्पतालों को 45 दिनों के अंदर पीएसए ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट लगाना होगा।
स्वास्थ्य विभाग के प्रभारी प्रधान सचिव सह अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह ने बताया कि स्वास्थ्य, चिकित्सा, शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग के निर्देश पर यह कार्य किया जाना है। ऑक्सीजन टास्क फोर्स ने यह स्पष्ट किया है कि प्रत्येक निजी अस्पताल जहां कोरोना संक्रमित मरीजों का इलाज किया जा रहा है, वहां पर ऑक्सीजन सिलेंडर एवं रीफिलिंग की निर्भरता को समाप्त करने के लिए ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट लगाना अनिवार्य है।
प्राइवेट अस्पताल के प्रबंधकों को 45 दिनों के अंदर अपने संस्थान में पीएसए ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट लगाने का निर्देश दिया गया है। साथ ही यह भी निर्देश दिया गया है कि भविष्य के विस्तारीकरण की योजना को ध्यान में रखते हुए ऑक्सीजन की अधिकतम उपलब्धता के आधार पर प्लांट लगाया जाए। प्लांट इंस्टॉल करने के क्रम में बड़ी मेडिकल लिक्विड ऑक्सीजन (एलएमओ) टैंक को प्राथमिकता दें।
उन्होंने यह भी कहा कि वैश्विक महामारी की दूसरी लहर में संक्रमित मरीजों के उपचार में निर्बाध ऑक्सीजन की आपूर्ति सुनिश्चित करना जिला प्रशासन के समक्ष एक बड़ी चुनौती है। वर्तमान में आकस्मिक चुनौती को देखते हुए जिला प्रशासन द्वारा डी टाइप जंबो एवं बी टाइप सिलिंडर के माध्यम से ऑक्सीजन की आपूर्ति की जा रही है।