Ranchi: झारखंड हाईकाेर्ट में गुरुवार को देवघर कोषागार से अवैध धन निकासी मामले में सुनवाई हुई है, जिसमें जांच एजेंसी सीबीआई ने राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की सज़ा बढ़ाने की मांग की है।
चारा घोटाला के देवघर कोषागार से अवैध निकासी से संबंधित लालू प्रसाद सहित 6 सजायाफ्ता की सजा बढ़ाने को लेकर दाखिल याचिका की आंशिक सुनवाई गुरुवार को झारखंड हाईकोर्ट में हुई। हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति सुजीत नारायण प्रसाद की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने इस याचिका को सक्षम खंडपीठ में भेजने का निर्देश दिया है। सीबीआई की ओर से अधिवक्ता पीएएस पति ने पैरवी की। वही लालू प्रसाद की ओर से अधिवक्ता प्रभात कुमार ने पैरवी की।
बता दें कि इस मामले में पूर्व में कोर्ट ने दो सजायाफ्ता फूलचंद सिंह और आरके राणा का नाम हटाने का आदेश दिया था। एक हस्तक्षेप याचिका दाखिल कर कोर्ट को बताया गया था कि फूलचंद सिंह और आर के राणा की मृत्यु हो गई है। जिसके बाद कोर्ट ने इस याचिका से इनका नाम हटाने का आदेश दिया था ।
उल्लेखनीय है कि सीबीआई ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर कहा है कि देवघर कोषागार से अवैध निकासी मामले में लालू प्रसाद, बेक जूलियस, सुबीर भट्टाचार्य सहित छह सजायाफ्ता को तीन से छह साल की सजा सुनाई गई है। सीबीआई ने इन्हें अधिकतम सजा देने की मांग करते हुए याचिका दाखिल की है।
याचिका में कहा गया था कि लालू प्रसाद को इस मामले में साढ़े तीन साल की सजा मिली है इन्हें अधिकतम 7 साल की सजा मिलनी चाहिए।