चाईबासा।
पश्चिमी सिंहभूम जिला के टोंटो थाना क्षेत्र के बाईहातू गांव में जुलाई माह में कैरा लागुरी सहित परिवार के पांच सदस्यों के नरसंहार मामले का पुलिस ने पटाक्षेप कर लिया है।
कैरा लागुरी सहित उसके परिवार के पांच सदस्यों के जुलाई माह से लापता होने के मामले में कोल्हान रेंज के डीआईजी राजीव रंजन के पर्यवेक्षण में जारी पुलिसिया जांच में आखिरकार पुलिस को सफलता हाथ लगी है। कैरा लागुरी , उसकी पत्नी एवं 3 बच्चों की हत्या कर जंगल में पांचों के शव को गाड़ दिया गया था। घर में ही पांचों की हत्या कर गांव से 20 किलोमीटर दूर जंगल में पांचों के शव को गाड़ दिया था, जिसे पुलिस ने नर कंकाल के रूप में बरामद किया था। इस नरसंहार मामले में शामिल मृतक की चाची सहित 10 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।
हत्या का खुलासा करने के बाद पुलिस जब हत्या के कारणों में की जांच करने में जुटी तो इस नरसंहार मामले की सूत्रधार एक महिला निकली। यह महिला कोई और नहीं बल्कि मृतक कैरा लागुरी की चाची है। इसने जमीन हड़पने को लेकर अपने भतीजा एवं उसके पूरे परिवार को डायन बता कुछ लोगों के साथ मिलकर मरवा दिया।
जुलाई माह में हुए नरसंहार मामले की प्राथमिकी टोंटो थाना में सितंबर माह में दर्ज हुई थी। तब मृतक की फूफी ने इनके लापता होने की प्राथमिकी दर्ज कराकर पुलिस से खोजबीन करने का अनुरोध की थी। प्राथमिकी दर्ज होने के बाद जिला के पुलिस अधीक्षक एवं जगन्नाथपुर के अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी ने बाईहातू गांव जाकर जांच भी की परंतु गांव के कुछ लोगों ने पुलिस को काफी दिग्भ्रमित किया। इस मामले में कई बार पुलिस भी साजिश का शिकार हुई और षड्यंत्र के तहत पुलिस को लगातार दिग्भ्रमित किया। अंत में जब डीआईजी राजीव रंजन ने मामले का सुपरविजन शुरू किया तो मृतक के मोबाइल के सहारे मामले का खुलासा करने में पुलिस को सफलता हाथ लगी।
डी आई जी ने कहा इन नर कंकालो का पुलिस फॉरेंसिक जांच करा कर आरोपियों को सजा दिलाने में प्रयास करेगी।
कैरा लागुरी के परिवार के नरसंहार मामले का काफी जद्दोजहद के बाद पुलिस ने खुलासा जरूर कर दिया है, परंतु इस बीच गांव वालों ने सब कुछ जान कर भी पुलिस को गुमराह किया। लिहाजा पुलिस अब उन सभी लोगों पर अपराध की साजिश रचने का आरोपी मानते हुए कार्रवाई करेगी ताकि भविष्य में कोई भी पुलिस को गुमराह ना करें।