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Ukraine पर भारत की स्थिति स्पष्ट, मानवीय संकट चिंताजनक, कूटनीतिक समाधान हो: राष्ट्रपति कोविन्द

राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द (President Ram Nath Kovind) ने कहा कि यूक्रेन पर भारत की स्थिति दृढ़ और सुसंगत रही है।

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New Delhi: राष्ट्रपति रामनाथ कोविन्द (President Ram Nath Kovind) ने कहा कि यूक्रेन पर भारत की स्थिति दृढ़ और सुसंगत रही है। हम बिगड़ती मानवीय स्थिति को लेकर बेहद चिंतित हैं। भारत दोनों पक्षों से हिंसा और शत्रुता को तत्काल समाप्त करने और बातचीत और कूटनीति के रास्ते पर लौटने का आह्वान करता है।

तुर्कमेनिस्तान की यात्रा पर पहुंचे राष्ट्रपति कोविन्द ने प्रतिष्ठित इंस्टीट्यूट ऑफ इंटरनेशनल रिलेशंस (Institute of International Relations) में युवा विद्यार्थियों से बातचीत में कहा कि वर्तमान वैश्विक व्यवस्था अंतरराष्ट्रीय कानून, संयुक्त राष्ट्र चार्टर और क्षेत्रीय अखंडता तथा देशों की संप्रभुता के सम्मान में निहित है।

राष्ट्रपति कोविन्द ने कहा कि भारत शांतिपूर्ण, सुरक्षित और स्थिर अफगानिस्तान का पुरजोर समर्थन करता है और इसकी संप्रभुता, एकता और क्षेत्रीय अखंडता पर जोर देता है।

राष्ट्रपति कोविन्द ने कहा कि उन्हें यह जानकार प्रसन्नता हुई कि भारतीय संस्कृति, विशेष रूप से भारतीय फिल्मों, टीवी धारावाहिकों, संगीत और नृत्य को यहां पसंद किया जाता है। उन्हें बताया गया है कि कई पीढ़ियों से भारतीय अभिनेता और अभिनेत्रियों के नाम घर-घर में जाने जाते हैं।

दिल्ली में विदेश मंत्रालय में सचिव (पश्चिम) संजय वर्मा ने रविवार को बताया कि राष्ट्रपति की यात्रा के दौरान संस्कृति, आपदा प्रबंधन, युवा मामलों और वित्तीय खुफिया के क्षेत्र में दोनों देशों के बीच 4 समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए गए। राष्ट्रपति ने तुर्कमेनिस्तान के राष्ट्रपति को भी भारत आने का न्योता दिया। ऊर्जा, फार्मास्यूटिकल्स, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस जैसे कई क्षेत्रों में निवेश पर भी चर्चा हुई।

भारत और तुर्कमेनिस्तान के राष्ट्रपतियों ने द्विपक्षीय और अंतरराष्ट्रीय मुद्दों पर बातचीत की। उन्होंने नव स्थापित भारत-मध्य एशिया ढांचे के तहत मुद्दों को देखा। उन्होंने व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए कनेक्टिविटी पर भी चर्चा की। भारत और तुर्कमेनिस्तान के बीच व्यापार बढ़ाने के लिए उत्तर-दक्षिण गलियारे, अश्गाबात समझौते और ईरान में चाबहार बंदरगाह के महत्व पर भी विचार किया गया। आतंकवाद, मादक पदार्थों की तस्करी और महिलाओं की सुरक्षा से निपटने के साथ-साथ अफगानिस्तान पर भी चर्चा हुई।

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