रांची।
देवघर पुलिस ने गोड्डा सांसद डॉ. निशिकांत दुबे की पत्नी अनामिका गौतम को एक नोटिस भेजा है. जिसपर विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने सवाल उठाये हैं. बाबूलाल मरांडी ने इसे अपमानजनक बताया है. साथ ही कहा है कि झारखंड की हेमंत सरकार राजनीतिक विद्वेष से ऐसी कार्रवाई कर रही है. उन्होंने कहा कि किसी प्रतिष्ठित महिला के साथ ऐसे अपमानजनक पत्राचार की हिम्मत देवघर पुलिस प्रशासन ने कैसे की?
चार दिसंबर को देवघर नगर थाना प्रभारी द्वारा अनामिका गौतम को एक नोटिस भेजा गया है. भेजे गये इस नोटिस में उन्हें एक मामले में जरूरी सूचनाओं के लिये दो दिनों के अंदर थाना में आने को कहा गया है. इस नोटिस पर भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने सवाल उठाये हैं.
किसी प्रतिष्ठित महिला के साथ ऐसे अपमानजनक पत्राचार की हिम्मत देवघर पुलिस प्रशासन ने कैसे की?
बाबूलाल मरांडी के अनुसार सांसद निशिकांत दुबे की पत्नी और फैशन इंडस्ट्री की संचालिका अनामिका गौतम की भी अपनी सामाजिक प्रतिष्ठा है. ऐसे में झारखंड पुलिस द्वारा भेजा गया नोटिस अपमानजनक है. किसी प्रतिष्ठित महिला के साथ ऐसे अपमानजनक पत्राचार की हिम्मत देवघर पुलिस प्रशासन ने जो दिखायी है, उसके लिये मुख्यमंत्री को इसका जवाब देना चाहिये. एक महिला को 48 घंटे के भीतर स्वयं उपस्थित होने को कहा गया है. यह अशिष्ट भाषा है.
जनता इसका जवाब देगी
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि यह नोटिस मुख्यमंत्री की जानकारी में नहीं होगा. लेकिन अगर उनकी जानकारी में हुआ है तो जनता इसका जवाब देगी. सीएम को भी इसका हिसाब देना होगा. राजनीतिक प्रतिद्वंदिता की वजह से नेताओं के परिजनों को घसीटा जा रहा है. पुलिस ने भी स्वयं को कोर्ट मान लिया है. इससे पता चलता है कि राजनीतिक विरोधियों को पुलिस के द्वारा साधने की कोशिश की जा रही है. इस तरह के कार्यों को तुरंत बंद किया जाए.
बाबूलाल ने मुख्यमंत्री से मांग कि इस तरह के कार्य को तुरंत बंद किया जाए ताकि लोकतंत्र की गरिमा बची रहे.
बता दें कि देवघर पुलिस ने अनामिका गौतम के दिल्ली स्थित पते पर नोटिस भेजकर 48 घंटे के अंदर उपस्थित होने को कहा है.