देवघरः
झारखंड सरकार ने बिजली दरों में वृद्धि करने का निर्णय लिया है. नयी बिजली दरें जुलाई महीने की पहली तारीख से प्रभावी होगी. घरेलू बिजली से लेकर इंडस्ट्रियल और फिक्सड चार्ज में भी बढ़ोतरी हुई है. सूबे की सरकार द्वारा लिये गये बिजली दरों की बढ़ोतरी के निर्णय का अब विरोध भी शुरू हो गया है.
विपक्षी दल जेएमएम नेताओं और ग्रामीण ईलाकों के लोगों ने ग्रामीण क्षेत्र में बिजली दर वृद्धि का विरोध किया.
ग्रामीणों ने कहा कि सरकार गरीबों पर एक और बोझ डाल रही है. ग्रामीण क्षेत्रों में मुश्किल से 12 से 15 घंटे बिजली मिलती है. बिजली न रहने पर ना तो कुटिर उद्योग ही सही से चल पाता है और न ही फसल की सिंचाई के लिए मोटर ही चल पाता है. ऐसे में बिजली व्यवस्था नहीं रहने से कृषकों की आय में इजाफा भी नहीं होता है और बिजली दरों में वृद्धि कर एक और बोझ दी जा रही है.
ग्रामीणों ने कहा कि 22 से 23 घंटे निर्बाध बिजली की व्यवस्था सरकार करे उसके बाद दर में बढ़ोतरी हो. ताकि ग्रामीण बिजली का लाभ लेकर अपनी आय में इज़ाफा कर सकें,जिससे बढ़े हुए दर को देने में भी कोई परेशानी नहीं होगी.
इधर, बिजली दर की बढ़ोतरी से नाराज़ जेएमएम के देवघर नगर अध्यक्ष सुरेश साह का मानना है कि सरकार 12 से 25 प्रतिशत तक बिजली दर में बढ़ोतरी कर रही है. ऐसे में ग्रामीणों पर एक और बोझ बढ़ने जा रही है. दर के साथ-साथ बिजली व्यवस्था को भी बेहतर किया जाये. ग्रामीण ईलाकों में 24 घंटे निर्बाध बिजली बहाल करने की मांग जेएमएम नेता ने की.
बिजली की नयी दर, 1 जुलाई से प्रभावी, 31 मार्च 2021 तक बढ़ायी गयी बिजली दर
►नए फैसले में अब इंडस्ट्रियल कंज्यूमर को 11 प्रतिशत, जबकि घरेलू उपभोक्ता को 25 प्रतिशत तक बिजली बिल में बढ़ोतरी की मार झेलनी होगी.
►सरकार ने कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं के लिए पांच प्रतिशत की बढ़ोतरी की है.
►घरेलू बिजली के लिए नया बढ़ा हुआ दर चार रूपये प्रति यूनिट होगा, जबकि पुराना दर 3.20 रुपया था. यानि प्रति यूनिट 80 पैसे की बढ़ोत्तरी की गयी है.
►बिजली की दर के साथ-साथ फिक्स्ड चार्ज भी बढ़ेगा. ग्रामीण क्षेत्र में सात प्रतिशत और शहरी क्षेत्र में 16 से लेकर 36 प्रतिशत तक फिक्स्ड चार्ज में बढ़ोतरी की गई है.
गौरतलब है कि नई बिजली दर की घोषणा करने से पूर्व राज्य विद्युत नियामक आयोग ने अलग-अलग स्थानों पर जनसुनवाई की थी. तब जाकर नयी टैरिफ जारी की गयी है.